स्वामी विवेकानंद जिन्हें हम सभी नरेंद्र नाथ दत्त के नाम से भी जानते हैं, एक हिंदू फिलॉस्फर, आध्यात्मिक टीचर, लेखक और मॉक थे I इनकी जयंती को राष्ट्रीय युवा दिवस के रूप में मना कर देश भर के लोग उनका सम्मान करते हैं I स्वामी विवेकानंद जी ने हमारे देश के युवाओं को सिखाया कि अगर वह दुनिया बदलना चाहते हैं तो सबसे पहले उन्हें खुद पर विश्वास करना होगा I दूसरों की राय को नकारते हुए उस मार्ग पर चलते रहना होगा जो आपको लगता है कि आपके लिए सर्वोत्तम है l आज इस लेख में हम बात करने जा रहे हैं स्वामी विवेकानंद जी द्वारा बताए गए कुछ अमूल्य पाठ जो हम सबके जीवन को सकारात्मक रूप से बदलने की शक्ति रखते हैं l
संघर्ष आपको मजबूत बनाते हैं
स्वामी विवेकानंद जी बताते हैं कि अगर एक मनुष्य को जीवन में सब कुछ बहुत आसानी से मिल जाता है तो वह कभी भी अपनी पूरी क्षमता का एहसास नहीं कर पाएगा I खुद को उत्तम बनाने के लिए आपको लगातार अपने अंदर छिपी, अपनी अनगिनत शक्तियों को पहचानना होगा I अंग्रेजी में एक कहावत है “ गॉड क्रिएटेड मैन इन हिज़ ओन इमेज ( God created man in his own image ) जिसका मतलब है कि एक मनुष्य को ही भगवान ने अपनी तरह ही सर्वशक्तिमान बनाया है I
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आत्मा, जाति-लिंग-धर्म रहित है
स्वामी विवेकानंद जी का मानना था कि परमात्मा ने सभी लोगों को समान रूप से बनाया है और सभी के अंदर वह शक्तिशाली आत्मा विद्यमान है इसलिए किसी को भी जाति, धर्म या लिंग के आधार पर दूसरों को ऊंचा, नीचा समझने या दूसरों के साथ भेदभाव करने का कोई अधिकार नहीं है I हर मनुष्य अपने अंदर निहित अपनी शक्तियों को पहचाने और अपने को कभी कमजोर ना समझे I
आत्म निरीक्षण आवश्यक है
विवेकानंद जी बताते हैं कि आप जो भी हैं, अपने जीवन में जो कुछ भी कर रहे हैं उसमें संतुष्ट अवश्य रहे I अपनी असली क्षमता को जानने के लिए, आपको अपना आत्मनिरीक्षण करना चाहिए और यह जानने की कोशिश करनी चाहिए कि असल में आप क्या चाहते हैं l इसके लिए अपने साथ कुछ वक्त गुजारने व आत्म चिंतन की आवश्यकता होती है l ऐसा करने से मनुष्य अपना उत्थान स्वयं कर सकता है l
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