Best Ghazal of Pankaj Udhas in hindi: चिट्ठी आई है आई है, ए गमे जिंदगी कुछ तो दे मशवरा, चांदी जैसा रंग है तेरा, और आहिस्ता कीजिए बातें, जिएं तो जिएं कैसे बिन आपके…
Pankaj Udhas News: पिताजी के रेडियो में चलने वाली पंकज उधास की गजलें दिल में आज भी गूजती हैं… भले ही आज मशहूर गायक पंकज उधास हमारे से रुखसत हो गए, लेकिन उनकी ये गजलें उनके जिंदा होने का आभास कराती रहेगी। सोमवार की शाम गजल सम्राट पंकज उधास 72 साल की उम्र में हमेशा के लिए खामोश हो गए। 26 फरवरी की सुबह पैंक्रियाज कैंसर से उनकी मौत हो गई। गजलों को लोगों के दिलों में बसाने का क्रेडिट पंकज उधास को ही जाता है।
अनूप जलोटा (Anoop Jalota) ने बताया उनका सफरनामा
पंकज उधास के खास दोस्त भजन सम्राट अनूप जलोटा ने कहा- लोगों ने पंकज उधास को खोया है पर मैंने अपना यार खोया है। हम एक दूसरे से सुख-दुख की बातें करते थे। कलाकारों और म्यूजिक की भी बात करते थे। वो बहुत व्यवहार कुशल शख्स थे। उनके चले जाने से गजल की दुनिया का एक सुनहरा दौर खत्म हो गया है। जन-जन तक गजल पहुंचाने का श्रेय उन्हीं को जाता है।
करीब 50 साल पहले रंगभवन में एक कार्यक्रम के दौरान हमारी पहली मुलाकात हुई थी। वक्त के साथ हमारी दोस्ती गहरी होती गई। कई प्रोग्राम हमने साथ में किए थे। न्यूकमर की मदद के लिए वो हमेशा तत्पर रहते थे। नए कलाकारों की मदद के उद्देश्य के साथ उन्होंने खजाना फिल्म फेस्टिवल की शुरुआत की थी।
Pankaj Udhas Income: पंकज की पहली कमाई थी 51 रुपये
पंकज उधास का सफर इतना आसान नहीं रहा। पंकज उधास तब चर्चा में आए थे, जब उन्होंने लता जी का गाना “ए मेरे वतन के लोगों” गाया था। उन दिनों जब भारत पाकिस्तान का युद्ध चल रहा था। उस दौरान पंकज ने ऐ मेरे वतन के लोगों गाकर सबको नम कर दिया। उनके गीत से लोगों की आंखें नम हो गईं। सुनने वालों में से एक आदमी ने इनाम में उन्हें 51 रुपए दिए। यह गाने के बदले उनकी पहली कमाई थी।
Pankaj Udhas Love Story: फ़िल्मी कहानी से कम नहीं पंकज उधास की लवस्टोरी
पंकज उधास की लव स्टोरी किसी फिल्म से कम नहीं रही। पंकज उधास और फ़रीदा को पहली मुलाक़ात में ही प्यार हो गया था। उस वक्त वो ग्रेजुएशन कर रहे थे और फरीदा एयर होस्टेस थीं। एक कॉमन फ्रेंड की शादी में दोनों की मुलाकात हुई थी। पंकज को पहली नजर में ही फरीदा पसंद आ गई थीं। पहले दोनों में दोस्ती हुई, फिर प्यार।
पंकज का परिवार इस रिश्ते के लिए तैयार था, लेकिन फरीदा के परिवार को यह रिश्ता मंजूर नहीं था। वे दूसरे धर्म में लड़की की शादी नहीं कराना चाहते थे। फरीदा के कहने पर पंकज उनके घर गए और उनके पिता से अपने रिश्ते की बात की। फरीदा के पिता रिटायर्ड पुलिस ऑफिसर थे, इस वजह से पंकज बहुत डरे हुए थे, लेकिन उन्होंने अपनी बातों से उनका दिल जीत लिया। फरीदा के पिता दोनों की शादी के लिए मान गए। और इस तरह उन्होंने अपने प्यार को मुकम्मल किया