Vinesh Phogat: पेरिस ओलंपिक (Paris Olympics 2024) में महिला रेसलर विनेश फोगाट का फाइनल से अयोग्य करार दिया गया है। विनेश फोगाट के वजन (Vinesh Phogat Weight News) को लेकर तीखी बहस चल रही है।
बुधवार 07 अगस्त 2024 भारत के लिए “ओलंपिक के इतिहास में काला दिन” की तरह है।
जिस भारतीय महिला रेसलर विनेश फोगाट में एक ही दिन में कई पहलवानों को पटखनी देकर फाइनल में जगह बनाई। उसे बुधवार को ओलंपिक कमेटी की ओर से वजन बढ़ने के कारण अयोग्य करार दे दिया गया। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, विनेश का वजन 50 किलोग्राम से थोड़ा ग्राम ही अधिक था।
इसके साथ ही भारत का गोल्ड का सपना टूटा।
इतना ही नहीं अब अयोग्य करार दिए जाने के कारण विनेश फोगाट को किसी भी तरह का मेडल नहीं मिलेगा। इसके बाद सोशल मीडिया पर कई तरह की बातें हो रही हैं और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर देश के तमाम नेता देश की बेटी को हिम्मत दे रहे हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विनेश फोगाट पर क्या लिखा है
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विनेश फोगाट के फाइनल में जाने पर भले बधाई नहीं दी लेकिन उनके अयोग्य करार दिए जाने पर ट्विट किया। पीएम ने लिखा है कि वो भारत की गौरव हैं और हर भारतीय के लिए प्रेरणा भी। यह झटका दुख पहुंचाने वाला है। काश वो उस निराशा को बता पाते, जिसका वह अनुभव कर रहे हैं।
राहुल गांधी ने कहा- देश की बेटी को न्याय दिलाएगा…
नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने लिखा है, “विश्वविजेता पहलवानों को हरा कर फाइनल में पहुंची भारत की शान विनेश फोगाट का तकनीकी आधार पर अयोग्य घोषित किया जाना दुर्भाग्यपूर्ण है। हमें पूरी उम्मीद है कि भारतीय ओलंपिक संघ इस निर्णय को मजबूती से चैलेंज कर देश की बेटी को न्याय दिलाएगा। विनेश हिम्मत हारने वालों में से नहीं हैं, हमें पूरा भरोसा है कि वह अखाड़े में और अधिक मजबूती से वापसी करेंगी। आपने हमेशा देश को गौरवान्वित किया है विनेश। आज भी पूरा देश आपकी ताक़त बनकर आपके साथ खड़ा है।”
सच्चाई का पता लगाया जाए- अखिलेश यादव
सपा प्रमुख और सांसद अखिलेश यादव ने ट्वीट कर लिखा है कि विनेश फोगाट के फाइनल में ना खेल पाने की चर्चा के तकनीकी कारणों की गहरी जांच की जाए और सच्चाई का पता लागाया जाए।
इस तरह से विनेश फोगाट को नेता और आमजन समर्थन देकर हौंसला बढ़ाने का काम कर रहे हैं। हालांकि, इसको लेकर भारतीय ओलंपिक मैनेजमेंट की टीम पेरिस ओलंपिक संघ से बातचीत कर रही है। अब देखना है कि इसको लेकर आगे क्या कदम उठाए जाते हैं।